अस्पताल में मरीज़ तड़पता रहा और ऑपरेटर बोला – मेरा मन होगा तो बनाऊगा पर्चा, जो करना हो सो कर लो…


शिवपुरी।जिला अस्पताल में आज सुबह ओपीडी का पर्चाबनाने वाले एक ऑपरेटर ने मरीज को दिखाने आए अटेंडर के साथ अभद्रता करते हुए काफी अनाप-शनाव बोला। ऑपरेटर का कहना था कि मेरा मन होगा तो पर्चा बनाऊगा नही तो नही बनाऊगा। मै किसी से नही डरता जो करना हो कर लेना। इधर मरीज सीने में दर्दसे तड़पता रहा वही ऑपरेटर की मनमानी के चलते करीब आधे घंटे बाद मरीज का पर्चा बना लेकिन अस्पताल में कोईडॉक्टर नही आया जिसके चलते मरीज को दूसरे क्लीनिक पर जाकर इलाज कराना पड़ा।
जानकारी के मुताबिक पुरानी शिवपुरी निवासी दीपक शर्माआज सुबह करीब १० बजे अपने मित्र अर्जुन ठाकुर को सीने में दर्दहोने की शिकायत के चलते जिला अस्पताल लाया था। यहां पर दीपक ओपीडी काउंटर पर पर्चाबनवाने पहुंचा तो दो खिड़कियो में से एक पर लंबी लाइन थी और दूसरी खिड़की महिला होने के कारण खाली थी। चूंकि दीपक के मित्र के दर्द तेज हो रहा था तो दीपक खाली वाली खिड़की पर पर्चाबनवाने पहुंच गया। यहां पर पर्चा बनाने वाले कम्प्यूटर ऑपरेटर विपिन शर्मा ने महिला खिड़की होने की बात बोलकर पर्चाबनाने से इंकार कर दिया। इस पर दीपक ने कहा कि उसके मित्र की हालत खराब है ऐसे में वह ज्यादा इंतजार नही कर सकता और आप खाली बैठे हो।अगर पर्चाजल्दी बन जाएगा तो वह मित्र को डॉक्टर के पास दिखा लेगा। इधर इसी बात को लेकर कहासुनी शुरू हो गईऔर फिर ऑपरेटर विपिन ने दीपक से काफी अभद्र भाषा बोलते हुए कहा कि यहां पर मैं अपने मुताबिक काम करता हूॅ। तुमको जो करना हो कर लेना। आखिर बाद में मजबूर होकर दीपक ने लाइन में लगकर पर्चाबनवाया और डॉक्टर रूम में पहुंचा तो वहां पर भी कोईडॉक्टर नही था। कुछ देर तक दीपक व पीडि़त अर्जुन दोनो डॉक्टर का इंतजार करते रहे फिर जब डॉक्टर नही आया और अर्जुन के दर्दतेज होने लगा तो दोनो अस्पताल से बाहर किसी डॉक्टर के पास पहुंचे और वहां पर अपना इलाज कराया। कुल मिलाकर इस घटना से ऐसा प्रतीत हो रहा हैकि जिला अस्पताल में डॉक्टर तो डॉक्टर बल्कि संविदा व ठेके पर काम करने वाले कर्मचारी भी लापरवाही करने से परहेज नही कर रहे। खास बात यह है कि ऑपरेटर वीडिय़ो में भी खुलकर अभद्र भाषा का प्रयोग करते हुए अपनी मनमानी की बात बोल रहा है।
इनका कहना है।
– अगर उस ऑपरेटर ने मरीज या अंटेडर से अभद्रता की है तो वह गलत है। यहां पर हमने उन लोगो को ठेके पर अस्पताल में व्यवस्था बनाकर काम करने के लिए रखा है। ना कि अभद्रता करने के लिए। मैं संबंधित कंपनी के जिम्मेदार से बात कर इसमें उचित कार्रवाईकरवाता हूॅ।
डॉ एसएस गुर्जर, आरएमओ जिला अस्पताल

Post a Comment

Previous Post Next Post